1. 1 कूलॉम आवेश कितने इलेक्ट्रॉनों से बनता है ?
(1 इलेक्ट्रान पर आवेश e =1.6 ×10^-19 कूलॉम)
हल:- यदि एक इलेक्ट्रान का आवेश e हो और n इलेक्ट्रॉनों का कुल आवेश Q हो,तो
Q =ne
∴ n=Q/e
यहाँ,Q =1 कूलॉम=1 C और e =1.6 ×10^-19 C
∴ n= 1 C/1.6 ×10^-19 C
=6.25×10^18
अतः, 1 कूलॉम(C) आवेश 6.25×10^18 इलेक्ट्रॉनों से बनता है।
2. यदि 8.0 मिलीकूलॉम आवेश को अनंत से किसी बिंदु P तक लाने में किया गया कार्य 0.96 जूल हो,बिंदु P पर विद्युत विभव क्या होगा ?
हल :- दिया गया है कि
q=8.0 mC =8.0 ×10^-3 C तथा W=0.96 J .
सूत्र V =W/q से,
V= 0.96 J/8.0 ×10^-3 C
=(960/8.0)J/C =120 v. [∵ V =J/C]
3. 12 V विभवांतर के दो बिंदुओं के बीच 3 C आवेश को ले जाने में कितना कार्य करना होगा ?
हल :- दिया गया है कि दो बिंदुओं A और B के बीच विभवांतर VAB= 12V तथा प्रवाहित आवेश का परिमाण q=3 C
सूत्र WAB=qAB से,
अभीष्ट कार्य WAB=(3 C)(12V)=36 J. [∵ 1 J =1 CV]
4. 0.10 C आवेश को 15 V विभव वाले बिंदु B से 135 V विभव वाले बिंदु A तक ले जाने में कितना कार्य करना पड़ेगा ?
हल :-दिया हुआ है कि q =0.10 C ,VB =15V VA=135V
सूत्र से ,
W= q(VA-VB)
अभीष्ट कार्य W = (0.10 C){(135V)-(15V )}
=(0.10 C)(120 V)
=12 J .
5. यदि के तार से 15 मिनट में 450 C आवेश प्रवाहित हो ,तो विद्युत-धारा का मान क्या होगा ?
हल:- दिया गया है कि t =15 मिनट
=15 ×60 s =900 s
एवं Q =450 C .
सूत्र I =Q /t से ,
अभीष्ट धारा I =450 C /900 s
=0.5 A . ]
6. यदि किसी विद्युत बल्ब के तंतु (filament) में 0.5 A विद्युत-धारा 15 मिनट तक प्रवाहित होती है, तो विद्युत-परिपथ से प्रवाहित विद्युत आवेश का परिमाण ज्ञात किजिए।
हल :- दिया गया है कि I =0.5 A
तथा t=15 मिनट =15 ×60 s =900 s
सूत्र से ,Q =It
विद्युत-परिपथ में प्रवाहित अभीष्ट आवेश
Q=(0.5 A)(900s) =450 C.
[∵ 1 C =1 A s ]
7.यदि एक बल्ब में 3 घंटे तक 0.4 A धारा प्रवाहित की जाए तो उनमें कितना आवेश प्रवाहित होगा ?
हल:- दिया गया है कि t=3 घंटा =3×60 ×60 s =1080 s
तथा I =0.4 A
सूत्र से ,
Q=It से,
अभीष्ट आवेश Q=(0.4A)(1080 s)
=4320 C. [∵ 1 C =1 A s ]
8. एक प्रतिरोधक के सिरों पर बैटरी जोड़ने से वोल्टमीटर का पठन 10 V मिलता है।यदि प्रतिरोधक में 0.05A की धारा प्रवाहित होती है,तो इसका प्रतिरोध क्या होगा?
हल :-दिया गया है कि V=10 V ,I =0.05 A
सूत्र से ,
R=V/I
प्रतिरोधक का अभीष्ट प्रतिरोध
R =10 V/0.05 A
R=1000/5 =200 Ω
9. किसी प्रतिरोधक के सिरों से 12 V की बैटरी को संयोजित करने पर परिपथ में 2.5 mA की विद्युत-धारा प्रवाहित होती है। प्रतिरोधक का प्रतिरोध निकालें।
हल :- दिया गया है कि विभवांतर V =12 V
तथा परिपथ में विद्युत-धारा I =2.5 mA =2.5×10^-3 A .
सूत्र से ,
R=V/I
अभीष्ट प्रतिरोध R =12 V /2.5×10^-3 A
=4.8 ×10^3 A
=4.8 kΩ
10. 220 V स्रोत से निम्नलिखित में से प्रत्येक कितना विद्युत-धारा लेगा ?
(a) विद्युत बल्ब का तंतु जिसका प्रतिरोध 1100 Ω है ,तथा
(b) विद्युत हीटर की कुंडली (coil) जिसका प्रतिरोध 110 Ω है।
हल:-दिया गया है कि V =220 V
(a) बल्ब के तंतु का प्रतिरोध (R)=1100 Ω
सूत्र से ,
V=RI
तंतु में धारा (I)=V/R
=220V /1100 Ω=0.2 A .
(b) हीटर की कुंडली का प्रतिरोध (R')=110 Ω
सूत्र से ,
V =RI
कुंडली में धारा (I')=V/R'
=220V/110Ω
=2A
[दृष्टव्य-220 V के समान विद्युत-स्रोत से विद्युत बल्ब की तुलना में हीटर 10 गुनी धारा लेता है। ]
11. जब किसी विद्युत हीटर के टर्मिनलों के बीच विभवांतर 110 V है, तो हीटर स्रोत से 2 A की विद्युत-धारा लेता है। यदि विभवांतर को 220 V कर दिया जाए,तो हीटर स्रोत से कितना धारा लेगा ?
हल- दिया गया है कि V =110 V ,
I =2 A
सूत्र से ,
R=V/I
हीटर की कुंडली का प्रतिरोध(R)=110 V /2A
=55 Ω
जब विभवांतर बढ़ाकर V=220 V कर दिया जाए ,तब हीटर की कुंडली से विद्युत धारा
I'=V'/R =220V /55 Ω
=4 A.
अतः,विभवांतर को दोगुना करने पर हीटर की कुंडली दोगुनी धारा लेती है।
12. ओम के नियम के सत्यापन के लिए किए गए एक प्रयोग में,किसी प्रतिरोधक में प्रवाहित धारा I तथा उसके सिरों के बीच का विभवांतर V मापे गए। नीचे दिए गए मानों से I के साथ V का ग्राफ खींचें। दर्शाएँ कि ये प्रेक्षण ओम के नियम को सत्यापित करते हैं और प्रतिरोधक का प्रतिरोध भी निकालें।
हल - x-अक्ष पर विभवांतर V के मान और y-अक्ष पर धारा I के मान लेकर प्रश्न में दिए गए आँकड़ों से हम ग्राफ खींचते हैं। प्राप्त ग्राफ एक सरल रेखा मिलता है (चित्र 4.21) जिससे ओम के नियम का सत्यापन हो जाता है।
प्रतिरोधक का प्रतिरोध,
R=V/I
= OM/PM
=4V /0.5 A
=8 Ω
13. 20°C पर किसी धातु के 1.1 m लंबे तार का प्रतिरोध 28Ωहै। यदि तार का व्यास 0.3 mm है,तो इस तार पर धातु की प्रतिरोधकता क्या है ?
हल :-दिया गया है कि
l=1.1 m ,R =28Ω , d=0.3 mm
∴ r =0.15 mm =1.5×10^-4 m
सुत्र से ,
R=ρl/A = ρl/πr^2
तार के धातु की प्रतिरोधकता
ρ=Rπr^2/l
=(28 Ω )×22×(1.5×10^-4 m)^2 /7×1.1m
=1.8×10^-6 Ωm.
14. मैंगनिन,जिसकी प्रतिरोधकता 4×10^-7 Ωm है, के एक तार का व्यास 0.4 mm है। 7 Ω प्रतिरोध की कुंडली बनाने के लिए इस तार के कितनी लंबाई की आवश्यकता होगी?
हल:- दिया गया है कि
ρ=4×10^-7 Ωm,
R= 7 Ω,
d= 0.4 mm
∴ तार का प्रतिरोध r =d /2
=0.4 mm/2
r =0.2 mm=2×10^-4 m
तार का प्रतिरोध R=ρl/A=ρl/πr^2
(जहाँ l तार की अभीष्ट लंबाई है)
∴ l= πr^2R/ρ
=22(2×10^-4 m)^2 (7Ω)/ (7×4×10^-7 Ωm)
=2.2 m .