उत्तर ये दोहरी झिल्ली वाली रचना है, जो केवल पादप कोशिका में पाई जाती है। इसकी भीतरी झिल्ली फैलकर ग्रैना नामक समूह बनाती है। ग्रैना सौर ऊर्जा के शोषण से संबंधित रचना है। इसमें क्लोरोफिल तथा अनेक वर्णक होते हैं। क्लोरोप्लास्ट के बीच का आधारी पदार्थ स्ट्रोमा (पीठिका) कहलाता है जिसमें प्रायः मंड कण होते हैं। हरितलवक प्रकाश संश्लेषण क्रिया का स्थान है।